छठ पूजा : घर बुलाता है यानि भावनाओं से भरा हुआ पर्व
छठ पूजा ये सिर्फ एक पर्व नहीं हैं ये हर एक पूर्वाचल , बिहार , झारखंड , नेपाल के तराई क्षेत्रों के लिए एक Emotions हैं। बाहर गए हुए हर उस इंसान के लिए ये घर जाने का एक Reason होता हैं। चाहे वो बाहर पढ़ने गया हो Student हो या कमाने गया घर का सदस्य । आखिर ऐसा क्या है इस पर्व में जो इसका एतना बड़ा महत्व हैं तो चलिये बताता हूँ। वो कहावत तो सुनी ही होगी आप सबने कि " उगते सूरज को तो सब राम राम करते हैं" लेकिन आपको जानकर हैरानी होगी इस त्योहार में सबसे पहले डूबते सूरज की पूजा की जाती हैं। इससे पता चलता है कि डूबते हुये इंसान भी जीवन में बहुत कुछ सीखा सकता है और उसका भी बहुत ज्यादा महत्व हैं, हालाकिं इसका हर कोई अलग अलग मतलब निकाल सकता हैं। चलिये जानते है कि आखिर क्यों छठ पर घर न जाने का दर्द किसी अपने से बिछड्ने से ज्यादा बड़ा दुख देती है जो भी इस त्योहार को मानता है। आखिर क्यों मनाया जाता हैं छठ का ये महापर्व और क्या इसके पीछे की कहानी छठ सिर्फ एक पर्व नहीं है, बल्कि महापर्व है, जो पूरे चार दिन तक चलता है। नहाए-खाए से इसकी शुरुआत होती है, जो डूबते और उगते हुए सूर्य को अर्घ्य देकर समा...